गुरुवार, 25 मई 2017

बाप के कंधे पर चढ़ कर कुछ बनने वाले और होते है हम तो संघर्षों और अपनी कूवत से जमी पर चलते है ।

बाप के कंधे पर चढ़ कर कुछ बनने वाले और होते है
हम तो संघर्षों और अपनी कूवत से जमी पर चलते है ।

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